लॉक डाउन के बाद घूमने की प्लानिंग कर रहे है तो जरूर जाये उत्तराखंड के इन जगहों पर।
उत्तराखंड अपनी खूबसूरती के लिए जाना जाता है जहां हर साल लाखों की संख्या में अपने देश से ही नहीं बल्कि विदेशों से भी काफी पर्यटक आते है।
लॉक डाउन के बाद घूमने की प्लानिंग कर रहे है तो जरूर जाये उत्तराखंड के इन जगहों पर।
उत्तराखंड अपनी खूबसूरती के लिए जाना जाता है जहां हर साल लाखों की संख्या में अपने देश से ही नहीं बल्कि विदेशों से भी काफी पर्यटक आते है।
वाराणसी एक खूबसूरत शहर जहां की होली बहुत ही अनोखी तरह से मनाई जाती है
आइये मै आज आपको वाराणसी की अनोखी होली के बारे में बताता हूँ यहां की होली चिताओं की भष्म से मनाई जाती है।
होली विशेष रूप से रंगों का त्यौहार है जो लोगों के बीच बने आपसी मतभेद को त्याग कर आपस में रंग खेलते है और प्यार से गले मिलते है। किन्तु भारत में कुछ ऐसी जगह है जहां कुछ अलग ही तरह से मनाई जाती है जैसे अपने वाराणसी में मनाई जाती है।
आमलकी एकादशी से शुरू होता है जश्न :- पुरानी कथाओं के अनुसार भगवान शिव और पार्वती जी के विवाह उपरांत फाल्गुन की एकादशी के दिन ही देवी पार्वती का गौना हुआ था। और शिवजी के साथ उनके नगर आयी थी इस खुशी के कारण आमलकी एकादशी पर जश्न मनाया गया था जिस कारण से आज भी यहां एकादशी पर जश्न मनाया जाता है जाता है और इस दिन बाबा की पालकी निकाली जाती है और चारों ओर रंगों का माहोल होता है और इसके अगले ही दिन यह माहोल एकदम बदल जाता है।
चिताओं की भश्म से मनाई जाती है होली :- भगवान शिव को शमशान देवता माना जाता है और शिव को सृस्टि के संचालक और शंघारक है इसी कारण से शमशान भूमि में शिव की प्रतिमा जरूर स्थापित की जाती है और इसी के अनुसार शिव शमर्थित पूरी कशी नगरी में एकादशी के अगले ही दिन चिताओं की भष्म से होली खेली जाती है यह बात वास्तब में काफी अजीब लगती है लेकिन पौराणिक मान्यता है कि भगवान शिव के ौघण रूप को दिखाने के लिए ही काशी के मणिकर्णिका घाट में चिता की भष्म का उपयोग किया जाता है लोग चिता की भष्म एक दूसरे पर लगाते है और डमरुओं और हर हर महादेव के उद्घोष से पूरा वातावरण मदमस्त हो जाता है।
क्या है लोगो मान्यता :- लोगों की मान्यता है के इस दिन भगवान शिव स्वंय होली मनाने आते है और चिता की भस्म होली खेलते है
अगर घूमने की प्लानिंग कर रहे है तो जरूर प्लान बनाये :- गुजरात के सतपुरा
हरे भरे वन और पहाड़ों से घिरी प्राकृतिक सुंदरता का धनी सतपुड़ा में घूमने के लिए कई स्थान है। यह एक आकर्षण हिल स्टेशन है जो गुजरात डांग जिले में स्थित है जो समुद्र ताल से ८७५ मीटर की ऊंचाई पर स्थित है। सतपुड़ा प्रकृति प्रेमियों और वन्यजीव उत्साही लोगो के लिए बहुत खूबसूरत जगह है। सतपुड़ा शव्दिक अर्थ है सांपो की भूमि। इसीलिए यहां के स्थानीय निवासी होली के माह में सांपो की पूजा करते है। आइये जानते है सतपुड़ा में घूमने के आकर्षक स्थान :-
हाटगढ़ फोर्ट :- हाटगढ़ किला सतपुड़ा से ५ किमी की दुरी पर है जो लगभग ३६०० फीट ऊंचाई पर स्थित है यहां पहुंचने के लिए एकमात्र साधन ट्रैकिंग है यह सतपुड़ा में घूमने की सबसे अच्छी जगहों में से एक है। यह प्राचीन किला सह्याद्रि रेंज में आता है। यहां पहुंचकर लोग किले के ऊपर से पूरी घाटी और सुरगाना गॉव के शानदार नजारों का आनंद सकते है
वसन्दा नेशनल पार्क :- यह नेशनल पार्क २४ वर्ग किमी रेंज में फैला हुआ है जो सतपुड़ा से ४० किमी की दुरी पर स्थित है यहां का वातावरण उष्णकटिवन्धिय आद्रता वाला है।
सनराइज़ पॉइंट :-
सतपुड़ा लेक :-
नागेश्वर महादेव मंदिर :-
एडवेंचर का शौक है तो जीवन में जरूर जाए इन ७ जगह
नई-नई जगह घूमना सभी को बहुत पसंद होता है अगर आप एडवेंचर का शौक रखते है तो जीवन में एक बार जरूर जाये दुनिया की इन ७ अद्भुत जगहों पर जहाँ अनुभव आपको जिंदगी भर याद रहेगा।
१- ग्रेट वैरियर रीफ स्विमिंग करना:- यहाँ स्विमिंग समुद्र में अलग ही अनुभव देता है क्यूंकि यहां १५०० से भी ज्यादा प्रजाति वाली मछलिया और कोरल रीफ है इसलिए यहां मछलियों के साथ स्विमिंग एक अलग ही अनुभव देता है। और साथ ही समुद्र के अंदर के नज़ारे बहुत ही सूंदर लगेंगे।
२- माउंट एवेरेस्ट पर चढ़ना:- एवेरेस्ट पर चढाई करना एवेरेस्ट पसंद लोगो के अंदर एक अलग ही जूनून होता है अगर आपको भी एडवेंचर पसंद है तो एक बार माउंट एवेरेस्ट पर चढाई की कोशिश कर सकते है जो आपको एक अलग ही अनुभव देगी। और यह अनुभव एडवेंचर न पसंद लोगों के लिए भी एक अलग ही अनुभव देगा।
३- दुनिया का सबसे ऊँचा क्लिफ जंपिंग:- अगर आपको क्लिफ जम्प करना पसंद है तो आप न्यूज़ीलैंड के कवीनस्टोन में दुनिया भर से लोग इसका आनंद लेने आते है यहां का शॉटओवर कैनियन दुनिया का सबसे ऊँचा जम्प है यहां ६५० मीटर केबल के जरिये जम्प लगा है।
४- द ग्रेट वाल ऑफ़ चाइना :- यह दुनिया के सात अजूबों में से एक है जहां करोड़ों पर्यटक घूमने आते है। यहां ट्रेकिंग करने में यहां की हर दीवार का अपना एक अलग ही अनुभव है जहां आपको कोई न कोई जगह ही मिल ही जाएगी जहां बहुत से लोग नहीं पहुंच पाते है ऐसे स्थान के फोटो लेना आपको अलग ही अनुभव देगा जो आपको जिंदगी भर याद रहेगा।
५- दुबई में स्काइडाइविंग:- अगर आप स्काइडाइविंग के शौकीन है तो ट्रेंड प्रशुक्षुओं की मदद से इसका अनुभव ले सकते है लेकिन आपको सभी नियमों का पालन करना होगा।
६- नॉदर्न लाइट्स में सोना:- यहां की रंग विरंगी रोशनी में सोना एक अलग ही अनुभव है जो शब्दों में व्यान नहीं किया जा सकता जहां लोग दूर-दूर से नॉर्वे स्वीडन और फ़िनलैंड जैसे देशों में आते है नॉदर्न लाइट्स मौसम की स्थिति स्थान और साल के समय पर निर्भर करता है। अगर आपको इस दुर्लभ दृश्य का आनंद लेना है तो मौसम जानकारी लेने के बाद जाये।
७- सहारा सैंड सर्फिंग:- सहारा रेगिस्तान के टीले पर दुनिया भर से लोग एक्टिविटी करने आते है यह एक प्रकार का अलग ही अनुभव है सर्फिंग और सैंडबोर्डिंग के दौरान आप यहां के जंगली इलाकों का लुत्फ़ उठा सकते है। यहां सर्फिंग और सांडबोर्डिंग का आनंद हर उम्र का व्यक्ति आनंद ले सकते है।
ऐसे ९ देश जहा भारतीय रुपया की कीमत ज्यादा है सस्ते में घूमे विदेश -
आज हम आपको विदेश की सैर कराते है जहा घूमना आपको बहुत सस्ता पड़ेगा। जहां की यात्रा आप आसानी अफोर्ड सकते है इसलिए मै आपको उन ९ देशो के बारे में बताऊंगा जहां आप आसानी से कम खर्चे में अपने शौक पुरे कर सकते है।
१- नेपाल:- नेपाल में भारतीय १ रूपये की कीमत 1.60 नेपाली रुपया है यहां आपको खूबसूरत पहाड़ियां,मंदिर,मठ अपनी ओर आकर्षित करता है। यहाँ पहुंचकर आप अपने बजट में जी भर कर शॉपिंग कर सकते है। यहां जाने के लिए भारत से कई बस सेवाएं उपलब्ध है पड़ोसी देश होने के कारण कई स्थानों से पैदल भी जा सकते है।
२- श्रीलंका:- यहां १ भारतीय रुपया की कीमत 2.50 श्रीलंकाई रूपये के बराबर है इसलिए आप सस्ते में दोगुना मजा ले सकते है। अगर आप श्रीलंका जाने का प्लान बना रहे है तो एला जाना भूले यह घूमने के लिए बेस्ट डेस्टिनेशन है।
३- वियतनाम:- यहां १ रुपये कीमत 334.68 वियतनामी दोंग है। यहां आकर आप जी भर के शॉपिंग कर सकते है
४- जापान:- अगर आप जापान की खूबसूरती को देखने जाना चाहते है तो यह एक खूबसूरत डेस्टिनेशन है यहां १ रूपये की कीमत 1.60 जापानी येन है इसलिए यहां की ट्रिप सस्ते में प्लान कर सकते है।
५-हंगरी:- लोग को लगता है की यूरोप बहुत महंगा है किन्तु ऐसा नहीं है यहां कुछ देश ऐसे भी है जहां भारतीय १ रूपये 4.12 हंगेरियन फोरिंट है अगर आप यूरोप की सैर करना चाहते है तो हंगरी एक खूबसूरत डेस्टिनेशन है। यहां कम पैसों में घूम सकते है।
६- इंडोनेशिया:- यहां १ इंडोनेशियाई रुपया 0.0048 भारतीय रूपये के बराबर है लॉन्ग ट्रिप पर अगर आप जाना चाहते है तो इंडोनेशिया एक खूबसूरत डेस्टिनेशन है। यहां आपको भारत से भी सस्ती और अच्छी चीजे इंडोनेशिया में मिल जाएगी। यहां बाली के खूबसूरत नज़ारे और बीच किसी को भी आकर्षित कर सकती है।
७- कोस्टा रिका:- नेचर लवर्स के लिए कोस्टा रिका एक बहुत ही खूबसूरत जगह है जहां सस्ते में ट्रिप प्लान कर सकते है यहां जाने के लिए आपको सोचने की जरुरत नहीं है। यहां १ रुपये की कीमत 8.26 कोसता रिकन कोलोन है यहां रेनफॉरेस्ट घूमने का शौक आप आसानी से पूरा कर सकते है।
८- कम्बोडिया:- घूमने के लिए कम्बोडिया से ज्यादा सुविधाजनक और सस्ती जगह और कोई हो ही नहीं सकती यहां आप कई प्रकार के एडवेंचर कर सकते है यहां १ रूपये की कीमत ६० कम्बोडियन रीएल है इसलिए आप यहां की ट्रिप प्लान कर सकते है।
९- मंगोलिया:- एडवेंचर के लिए मंगोलिया एक ड्रीम डेस्टिनेशन है मंगोलिया की संस्कृति को देखकर यहां जाने का दीवाना हो जाता है यह देश इतना किफायती है कि आप यहां बार सकते है यहां १ रुपया 35.5 मंगोलियन टगरिक है।
नेपाल की वो खूबसूरत जगह जहां आप आज तक नहीं गए -नेपाल
नेपाल का पोखरा बहुत ही खूबसूरत जगह है जो अपनी अलग ही सुंदरता बिखेरती है। नेपाल अपने हिन्दू मंदिरों के लिए भी फेमस है बाकि यहां झील के किनारे कई सारे रेस्टॉरेंट और कैफे बने हुए है यह जगह योग और साधना के लिए भी प्रशिद्ध है।
नेपाल एक खूबसूरत जगह है जहां दूर दूर से लोग घूमने आते है नेपाल पहाड़ियों की चोटियों से लेकर सूंदर मंदिर और मठ यहां की खासियत है। नेपाल में स्थित पोखरा एक शहर है जो नेपाल के मध्य में स्थित है जो फेबा झील के किनारे स्थित है। पोखरा अपनी प्राकृतिक सुंदरता और कई हिन्दू मंदिरों के लिए जाना जाता है। आइये हम आपको आज पोखरा के बारे में बताते है। और नेपाल की सुंदरता को निहारते है।
फेबा झील :- फेबा झील पोखरा की शान है और यहां की मैन पहचान है और यह नेपाल की दूसरी बड़ी झील है फेबा के उत्तर -पूरबी किनारे से आप झील का खूबसूरती को निहार सकते है। यहां पर्यटकों के आकर्षण के कई केंद्र है इस झील नौका बिहार का भी आनंद ले सकते है यहाँ से आप हिमालय के खूबसूरत नजारों का आनंद ले सकते है।
ताल बाराही मंदिर :- ताल बाराही मंदिर माँ दुर्गा का मंदिर है जो फेबा झील के एक टापू पर बसा है।
शांति स्तूप :- बोद्ध स्मारक शांति स्तूप दुनिया भर में विश्व शांति के लिए भी जाना जाता है जो एक पहाड़ी पर स्थित है इस पहाड़ी से फेबा झील के भी दर्शन कर सकते है यह नेपाल दूसरा शांति स्तूप है।
देवी फॉल :-यह नेपाल में एक खूबसूरत झरना है जो कुछ दूर जाकर भूमिगत हो जाता है। इस झरना को देखने के लिए मानसून मौसम बहुत खूबसूरत टाइम है। जो इस झरना की खूबसूरती बड़ा देता है।
पुराना बाजार :- यह बाजार यहाँ के स्थानीय लोगो द्वारा बने सामान को बेचने का प्रमुख स्थान है यह स्थानीय बाजार हस्तशिल्प और अपनी पारम्परिक पोशाक के लिए प्रमुख है।
इंटरनेशनल माउंटेन म्यूजियम :- अगर आप पहाड़ों के शौक़ीन है तो यह जगह आपके लिए क्योँकि यहां पहाड़ियों के बारे में सारे रिकार्ड्स मौजूद है
नैनीताल में घूमने के लिए टॉप २० प्लेसेस
नैनीताल का मुख्य बस अड्डा, काठगोदाम के निकटतम रेलवे स्टेशन से लगभग 35 किलोमीटर और पंतनगर हवाई अड्डे से लगभग 55 किलोमीटर दूर है, जो इसे आसानी से पहुँचा जा सकता है।
१- नैनी लेक :- नैनी लेक नैनीताल का दिल है जो नैनीताल को सबसे पहले एक्स्प्लोर करता है। यहां की खूबसूरती सभी झीलों से ज्यादा सूंदर है यहां की बोटिंग दिल जीत लेती है। नैनीताल शहर झील के चारों ओर बसा है। यहां बोटिंग करके बहुत समय बिताया जा सकता है और यहां बोटिंग चार्ज हाफ चक्कर १६०/- और फुल चक्कर २१०/- है।
टाइम :- सुबह ६ बजे से शाम ६ बजे तक
एंट्री फीस :-फ्री।
२- नैना देवी टेम्पल :-नैनी झील के नार्थ -ईस्ट साइड में बना हिन्दू मंदिर है जहां लाखों लोग दर्शन करने आते है। नैना देवी मंदिर तब अस्तित्व में आया जब देवी सती की नजर उस जमीन पर पड़ी, जब भगवान शिव उनकी स्वयंभू लाश ले जा रहे थे। नैना देवी मंदिर में देवता प्रसिद्ध देवी नैना देवी हैं, और उनके सम्मान में मंदिर में दो आँखों का प्रतिनिधित्व किया जाता है। यह मंदिर परिषर झील के बिलकुल किनारे बसा हुआ है इस कारण यहां से झील का नजारा बहुत ही सूंदर लगता है। नंदा अष्टमी के दिन यहां लाखो श्रद्धालु और लोकल भक्तों को अपनी और आकर्षित करता है। यह यहां का एक भव्य त्यौहार है जो सितम्बर माह में ५-८ दिनों तक चलता है यह मंदिर नैनीताल बस स्टेशन से पैदल दुरी पर ही स्थित है।
टाइम - सुबह ६ से रात्रि ८ तक
एंट्री फी -फ्री।
३- नैना पीक :-नैना पीक को हम चीन पीक के नाम से भी जानते है जो नैनीताल की सबसे ऊँची चोटी है यह नैनीताल टाउन से ६ किमी ऊंचाई पर स्थित है जिसकी ऊंचाई २६१५ मीटर है इस कारण से यह एडवेंचर लवर्स के लिए बहुत ही चैलेंजिंग ट्रेक है।
टाइम -सुबह ८ से शाम ५ तक
एंट्री फी -फ्री।
४- ईको केव गार्डन :-यह गार्डन सूखा ताल के पास ही नई बिकसित स्थान है यह सभी के लिए नैनीताल में लोकप्रिय स्थान है यह नैनीताल बस स्टैंड से ३. किमी पर स्थित है। इस गार्डन को घूमने का सही समय मार्च से जून और सितम्बर से दिसंबर है।
टाइम -सुबह ९ से शाम ५ तक
एंट्री फी -बच्चे १०/- एडल्ट २०/- कैमरा फी २५/-
५-राज भवन :-
टाइमिंग :-11 am, noon, 1 pm, 2 pm, 3 pm & 4 pm
एंट्री फी :Adult- INR 50, Child- INR 20
६- मॉल रोड
टाइमिंग :9 am to 10 pm
७-किलबरी
टाइमिंग :-All days of the week before the sunsets
एंट्री फी :-फ्री
८-पंगोट:-
एंट्री फी :-फ्री
९-स्नो व्यू पॉइंट:-
टाइमिंग :-10.30 am to 5 pm (closed on Saturdays)
एंट्री फी :-For a two-way cable car ride for Adults- INR 150, for kids- INR 75
१०-टिफिन टॉप
टाइमिंग:- 8 am to 11 pm
११-St. John Wilderness Church
टाइमिंग :-8 am to 6.30 pm and on Sunday- 7 am to 6.30 pm
एंट्री फी :-फ्री
२०२१ की गर्मियों में घूमने के लिए दिल्ली के पास २३ बेस्ट हिल स्टेशन
१-मसूरी २-नैनीताल ३-भीमताल ४-नौकुचियाताल ५-सातताल ६-रानीखेत ७-चैल ८-अल्मोड़ा ९-शिमला १०-औली ११-कुफरी १२-नरकाण्ड १३-धर्मशाला १४-मक्लिओडगंज १५-कसोल १६-मनाली १७-सोलंग वैली १८-डलहौज़ी १९-खाज्जिअर २०-मुक्तेश्वर २१-बिनसर २२-कौसानी २३-मुंसियारी
मसूरी में घूमने के लिए लोकप्रिय स्थान: मसूरी झील, केम्प्टी फॉल्स, के देव भूमि वैक्स म्यूजियम, धनोल्टी, सोहम हेरिटेज एंड आर्ट सेंटर, जॉर्ज एवरेस्ट हाउस, एडवेंचर पार्क, क्राइस्ट चर्च, भट्टा फॉल्स, मोसला फॉल्स, गन हिल, लाल टिब्बा, कैमल बैक रोड, जबर्खेत नेचर रिजर्व
मसूरी में करने के लिए चीजें: नौका विहार, ट्रैकिंग, प्राकृतिक दृश्यों को निहारना, झरनों पर घूमना, रॉक क्लाइम्बिंग, वन्य जीवन को देखना
दिल्ली से मसूरी कैसे पहुँचें: दिल्ली से देहरादून के लिए कई ट्रेनें चलती हैं, जहाँ से पहाड़ी स्टेशन सड़क मार्ग से केवल 1 घंटे 20 मिनट की दूरी पर है।
मसूरी घूमने का सबसे अच्छा समय: अप्रैल-जून और अक्टूबर-नवंबर
दिल्ली से हिल स्टेशन की दूरी: 279 किमी
2. Nainital
नैनीताल में देखने लायक लोकप्रिय स्थान: नैनी झील, नैना पीक, टिफिन टॉप, स्नो व्यू, इको केव गार्डन, बारा पत्थर, थांडी सदक, बारा बाज़ार, राजभवन, नैना देवी मंदिर, पशन देवी मंदिर, हनुमान गढ़ी, वेधशाला, जीबी पंत उच्च ऊंचाई का चिड़ियाघर
नैनीताल में करने के लिए चीजें: नौका विहार, घूमना, खरीदारी, फोटोग्राफी, रॉक क्लाइम्बिंग, रैपलिंग, ट्रेकिंग, रोइंगवे राइड्स
दिल्ली से नैनीताल कैसे पहुँचें: काठगोदाम तक ट्रेनें उपलब्ध हैं, जहाँ से आपको बस या टैक्सी लेनी होती है। आनंद विहार आईएसबीटी से नैनीताल तक बसें भी उपलब्ध हैं।
बेस्ट टाइम टू विजिट नैनीताल: जून-अक्टूबर
दिल्ली से हिल स्टेशन की दूरी: 287 किमी
भीमताल में घूमने के लोकप्रिय स्थान: भीमताल झील, भीमताल द्वीप, भीमेश्वर महादेव मंदिर, सैद बाबा की मजार, लोक संस्कृति संग्रहालय
भीमताल में करने के लिए चीजें: बोटिंग, लाइट हाइकिंग, झील के चारों ओर घूमना, मॉल रोड पर खरीदारी करना
दिल्ली से भीमताल कैसे पहुँचें: काठगोदाम से शहर के लिए नियमित बसें और टैक्सी सेवा उपलब्ध है, जो दिल्ली के लिए कई रेलगाड़ियाँ प्राप्त करती हैं।
भीमताल जाने का सबसे अच्छा समय: जून-अक्टूबर
दिल्ली से हिल स्टेशन की दूरी: 296 किमी
400 KM के भीतर दिल्ली के पास हिल स्टेशन
नौकुचियाताल में देखने लायक लोकप्रिय स्थान: नौकुचियाताल झील, हनुमान मंदिर, जंगलिया गाँव
नौकुचियाताल में करने के लिए चीजें: पाइंस, हल्की लंबी पैदल यात्रा, नौका विहार, मछली पकड़ना
दिल्ली से नौकुचियाताल कैसे पहुंचें: आप दिल्ली से काठगोदाम के लिए ट्रेन ले सकते हैं और फिर बसों या टैक्सियों द्वारा यात्रा पूरी कर सकते हैं।
नौकुचियाताल जाने का सबसे अच्छा समय: जून-अक्टूबर
दिल्ली से हिल स्टेशन की दूरी: 306 किमी
सातताल में देखने लायक लोकप्रिय स्थान: गरुड़ ताल, नल दमयंती ताल, पूर्ण ताल, सीता ताल, राम ताल, लक्ष्मण ताल, सुखा ताल, सुभाष धरा, तितली संग्रहालय, मेथोडिस्ट आश्रम
सातताल में करने के लिए चीजें: प्रकृति की खोज, प्रकाश लंबी पैदल यात्रा, फोटोग्राफी, बर्ड वॉचिंग, बोटिंग
दिल्ली से कैसे पहुंचें सातताल : बस और टैक्सी द्वारा काठगोदाम से सत्तल आसानी से पहुंच सकते हैं। दिल्ली से काठगोदाम के लिए कई ट्रेनें उपलब्ध हैं।
सातताल यात्रा का सबसे अच्छा समय: जून-अक्टूबर
दिल्ली से हिल स्टेशन की दूरी: 313 किमी
रानीखेत में घूमने के लिए लोकप्रिय स्थान: रानी झेल, रानीखेत गोल्फ कोर्स, आशियाना पार्क, मनकामेश्वर मंदिर, हैड़ाखान बाबा मंदिर, बिनसर महादेव मंदिर, भालु डैम, तरिकेट, उपत कालिका मंदिर
रानीखेत में करने के लिए चीजें: गोल्फिंग, बोटिंग, फिशिंग, लाइट हाइकिंग, मंदिर भ्रमण, दर्शनीय विस्टा को निहारना
दिल्ली से रानीखेत कैसे पहुँचें: काठगोदाम से रानीखेत के लिए कई बसें और टैक्सियाँ चलती हैं, जो कि टैक्सी, बसों और ट्रेनों द्वारा दिल्ली से जुड़ी हुई हैं।
रानीखेत जाने का सबसे अच्छा समय: जून-अक्टूबर
दिल्ली से हिल स्टेशन की दूरी: 338 किमी
चैल में देखने लायक लोकप्रिय स्थान: स्कूल प्ले ग्राउंड, साधुपुल झील, चैल पैलेस, काली का टिब्बा, गुरुद्वारा साहिब, सिद्ध बाबा मंदिर, चैल अभयारण्य
चैल में करने के लिए चीजें: प्रकृति को देखना, जंगल में घूमना, वन्यजीवों का पता लगाना, मंदिर का दौरा, झील में चहलकदमी
दिल्ली से चैल कैसे पहुंचें: चंडीगढ़ से टैक्सी और बसों द्वारा आसानी से पहुंचा जा सकता है, जो टैक्सी, ट्रेन, बस और उड़ानों द्वारा दिल्ली से जुड़ा हुआ है।
चैल जाने का सबसे अच्छा समय: जून-अक्टूबर
दिल्ली से हिल स्टेशन की दूरी: 340 किमी
अल्मोड़ा में देखने लायक लोकप्रिय स्थान: कासर देवी मंदिर, जागेश्वर मंदिर, स्वामी विवेकानंद का कर्बला कब्रिस्तान पत्थर, नंदा देवी मंदिर, चितई मंदिर, काँची मंदिर, जाखन देवी मंदिर
अल्मोड़ा में करने के लिए चीजें: पहाड़ों के दृश्य, हल्की लंबी पैदल यात्रा, स्थानीय रूप से बने बेल मिथाई का स्वाद लेना
दिल्ली से अल्मोड़ा कैसे पहुंचें: आप काठगोदाम तक ट्रेन ले सकते हैं और फिर काठगोदाम से हल्द्वानी के लिए बस या टैक्सी द्वारा यात्रा के बाकी हिस्सों को कवर कर सकते हैं।
अल्मोड़ा घूमने का सबसे अच्छा समय: जून-अक्टूबर
दिल्ली से हिल स्टेशन की दूरी: 346 किमी
शिमला में देखने के लिए लोकप्रिय स्थान: क्राइस्ट चर्च, जाखू हिल, जाखू मंदिर, राष्ट्रपति निवास, काली बाड़ी मंदिर, माल रोड, द रिज, टाउन हॉल, गेयटी थिएटर, बैंटोनी कैसल, द ग्लेन, गॉर्टन कैसल, अन्नाडेल, आर्मी हेरिटेज म्यूजियम, जॉनी का वैक्स म्यूजियम, शिमला हेरिटेज म्यूजियम, हिमाचल स्टेट म्यूजियम, समर हिल
शिमला में करने के लिए चीजें: द रिज से पहाड़ के नज़ारों को निहारना, माल रोड पर खरीदारी करना, आइस स्केटिंग का आनंद लेना, कालका-शिमला टॉय ट्रेन की सवारी, हल्की पैदल यात्रा
दिल्ली से शिमला कैसे पहुँचें: आप सबसे पहले चंडीगढ़ के लिए एक ट्रेन ले सकते हैं, जहाँ से बसें और टैक्सियाँ आसानी से हिल स्टेशन तक पहुँच सकती हैं। ब्रॉड गेज ट्रेन द्वारा आप कालका भी पहुँच सकते हैं, और फिर संकीर्ण गेज रेलवे द्वारा बाकी की यात्रा को कवर कर सकते हैं। वैकल्पिक रूप से, आप कार द्वारा दिल्ली के पास स्थित इस हिल स्टेशन तक भी पहुँच सकते हैं, यहाँ तक कि रास्ते के नज़ारों के मामले में यह बेहद फायदेमंद है। ये भी पढ़ें- शिमला टॉय ट्रेन
बेस्ट टाइम टू विजिट शिमला: जून-अक्टूबर
दिल्ली से हिल स्टेशन की दूरी: 360 किमी
औली में देखने लायक लोकप्रिय स्थान: कृत्रिम झील
औली में करने के लिए चीजें: घास के मैदानों पर ट्रैकिंग, ट्रैकिंग, प्रकृति की खोज, गोंडोला की सवारी, बर्फ से ढके पहाड़
दिल्ली से औली कैसे पहुँचें: दिल्ली से हरिद्वार के लिए ट्रेन और बसें उपलब्ध हैं, जहाँ से आप सड़क से बाकी की दूरी तय करते हैं। आप औली तक या जोशीमठ शहर तक सिर्फ एक बस या टैक्सी ले सकते हैं, जहाँ से एक केबल कार आपको अपने अंतिम गंतव्य से जोड़ती है।
औली जाने का सबसे अच्छा समय: जून-अक्टूबर
दिल्ली से हिल स्टेशन की दूरी: 364 किमी
कुफरी में घूमने के लोकप्रिय स्थान: इंदिरा बंगला, महासू पीक, हिमालयन नेचर पार्क, फन वर्ल्ड
कुफरी में करने के लिए चीजें: ट्रेकिंग, फोटो क्लिक करना, शंकुधारियों के नीचे आराम करना, घुड़सवारी, आनंद की सवारी, गो-कार्टिंग, वैली क्रॉसिंग, कमांडो नेट, बर्मा पुल
दिल्ली से कुफरी कैसे पहुंचें: चूंकि यह भारत के चारों ओर से ग्लोबट्रॉटरों के बीच एक बहुत लोकप्रिय गंतव्य है, शिमला जैसे आस-पास के स्थानों से यहां तक पहुंचने के लिए टैक्सी और बसें आसानी से उपलब्ध हैं।
कुफरी घूमने का सबसे अच्छा समय: जून-अक्टूबर
दिल्ली से हिल स्टेशन की दूरी: 374 किमी
नारकंडा में लोकप्रिय स्थान: हटू पीक, स्टोक्स फार्म, कचेरी में महामाया मंदिर,
नारकंडा में करने के लिए चीजें: घास के मैदान, पैराग्लाइडिंग, राफ्टिंग, माउंटेन बाइकिंग पर आराम
दिल्ली से नारकंडा कैसे पहुंचें: शिमला से नारकंडा के लिए बसें और टैक्सी आसानी से उपलब्ध हैं, इसके उच्च पर्यटक महत्व को देखते हुए।
नारकंडा जाने का सबसे अच्छा समय: जून-अक्टूबर
दिल्ली से हिल स्टेशन की दूरी: 420 किमी
धर्मशाला में देखने लायक लोकप्रिय स्थान: चिंतपूर्णी माता मंदिर, करेरी झील, राजकीय संग्रहालय, कुणाल पथरी माता मंदिर, युद्ध स्मारक, एचपीसीए स्टेडियम
धर्मशाला में करने के लिए चीजें: आराम करना, प्रकृति चलना, धौलाधार रेंज की प्रशंसा करना
दिल्ली से धर्मशाला कैसे पहुँचें: पठानकोट, जहाँ से धर्मशाला के लिए बसें और टैक्सियाँ उपलब्ध हैं, दिल्ली से रेल द्वारा पहुँचा जा सकता है।
धर्मशाला जाने का सबसे अच्छा समय: जून-अक्टूबर
दिल्ली से हिल स्टेशन की दूरी: 475 किमी
मैकलोडगंज में देखने लायक लोकप्रिय स्थान: तिब्बती इंस्टीट्यूट ऑफ परफॉर्मिंग आर्ट्स, भागसुनाग फॉल्स, भाग्सुनाग मंदिर, ट्रायंड पीक, नामग्याल मठ, चर्च ऑफ सेंट जॉन इन द वाइल्डरनेस, डल लेक, लाहौर गुफा
मैकलोडगंज में करने के लिए चीजें: नौका विहार, तिब्बती हस्तशिल्प के लिए खरीदारी, मोमोज और थुक्पा का स्वाद लेना, दलाई लामा मंदिर की खोज, प्रकाश से मध्यम ट्रेकिंग, गुफा शिविर
दिल्ली से मैक्लोडगंज कैसे पहुँचें: आप ट्रेन से दिल्ली से पठानकोट पहुँच सकते हैं, और फिर बस या टैक्सी ले सकते हैं।
मैक्लोडगंज जाने का सबसे अच्छा समय: जून-अक्टूबर
दिल्ली से हिल स्टेशन की दूरी: 478 किमी
कसोल में देखने लायक लोकप्रिय स्थान: शंकुधारी वन, पार्वती नदी, पार्वती घाटी, मलाना, तोश, खीरगंगा, मणिकरण
कसोल में करने के लिए चीजें: जंगल में आराम, प्राकृतिक दृश्यों को निहारना, प्राकृतिक गर्म सल्फर स्प्रिंग्स में स्नान करना, ट्रेकिंग, एंगलिंग
दिल्ली से कसोल कैसे पहुँचें: दिल्ली से सड़क, रेल या हवाई मार्ग से चंडीगढ़ पहुँचने के बाद, यदि संभव हो तो आप सीधे बस या टैक्सी ले सकते हैं। एल्स, कुल्लू शहर के लिए पहले सड़क से यात्रा करें, और फिर बस या टैक्सी बदलें।
कसोल घूमने का सबसे अच्छा समय: जून-अक्टूबर
दिल्ली से हिल स्टेशन की दूरी: 521 किमी
मनाली में देखने लायक लोकप्रिय स्थान: हडिम्बा देवी मंदिर, मनु मंदिर, वशिष्ठ गर्म झरने, तिब्बती मठ, पंडोह डैम, मनाली क्लब हाउस, पुराना मनाली, वन विहार राष्ट्रीय उद्यान, रोहतांग दर्रा
मनाली में करने के लिए चीजें: खरीदारी, आराम, पहाड़ के दृश्यों को निहारना, राफ्टिंग, प्राकृतिक सल्फर स्प्रिंग में स्नान, जगत्सुख गांव की यात्रा करना, नग्गर कैसल की खोज, मछली पकड़ना
दिल्ली से मनाली कैसे पहुँचे: मनाली पहुँचने के लिए आप दिल्ली से फ्लाइट या ट्रेन से चंडीगढ़ पहुँच सकते हैं और फिर टैक्सी या बस ले सकते हैं।
मनाली घूमने का सबसे अच्छा समय: जून-अक्टूबर
दिल्ली से हिल स्टेशन की दूरी: 556 किमी
सोलंग वैली में देखने लायक लोकप्रिय स्थान: गुलाबा, नाग मंदिर, रोहतांग दर्रा
सोलंग वैली में करने के लिए चीजें: रसीला घास के मैदान, ट्रेकिंग, पैराग्लाइडिंग, ज़ोरिंग, एटीवी राइडिंग, पैराशूटिंग, कैंपिंग, घुड़सवारी, गोंडोला राइड्स पर आराम
दिल्ली से सोलंग घाटी कैसे पहुँचें: निजी ट्रैवल एजेंसियों और हिमाचल प्रदेश सरकार के बहुत सारे नियमित बस और टैक्सी सेवा प्रदान करते हैं।
सोलंग वैली घूमने का सबसे अच्छा समय: जून-अक्टूबर
दिल्ली से हिल स्टेशन की दूरी: 565 किमी
डलहौजी के लोकप्रिय स्थान: सुभाष बावली, पंचपुला, बकरोटा हिल्स, बारा पत्थर, दिनकुंड, गंजी पहाड़ी, सेंट फ्रांसिस चर्च, माल रोड, सतधारा झरना
डलहौजी में करने के लिए चीजें: पर्यटन स्थलों का भ्रमण, पहाड़ के दृश्य, हल्के से मध्यम ट्रेकिंग
दिल्ली से डलहौज़ी कैसे पहुँचें: पठानकोट से बस या टैक्सी द्वारा शहर पहुँचा जा सकता है, जिसके लिए दिल्ली से कई ट्रेनें हैं।
डलहौजी घूमने का सबसे अच्छा समय: जून-अक्टूबर
दिल्ली से हिल स्टेशन की दूरी: 576 किमी
खजियार में देखने लायक लोकप्रिय स्थान: खजियार झील, स्वर्ण देवी मंदिर, कलातोप खजियार अभयारण्य
खजियार में करने के लिए चीजें: ट्रेकिंग, घुड़सवारी, प्रकृति को देखना, देवदारों के नीचे घास पर आराम करना, पैराग्लाइडिंग, ज़ॉर्बिंग
दिल्ली से खजियार कैसे पहुंचें: आप पहले ट्रेन से पठानकोट पहुंच सकते हैं और फिर बाकी यात्रा पूरी करने के लिए बस या टैक्सी ले सकते हैं।
खजियार घूमने का सबसे अच्छा समय: जून-अक्टूबर
दिल्ली से हिल स्टेशन की दूरी: 589 किमी
मुक्तेश्वर में देखने के लिए लोकप्रिय स्थान: मुक्तेश्वर मंदिर, चौथि जाली, मुक्तेश्वर निरीक्षण बंगला,
मुक्तेश्वर में करने के लिए चीजें: विंटर्स में लंबी पैदल यात्रा, प्रकृति को देखना, फोटोग्राफी, स्नो गेम
दिल्ली से मुक्तेश्वर कैसे पहुँचें: दिल्ली से काठगोदाम के लिए कई ट्रेनें चलती हैं, जहाँ से आप या तो सीधे मुक्तेश्वर तक बस या टैक्सी ले सकते हैं या भाटेलिया पहुँच सकते हैं और फिर वहाँ से बदल सकते हैं।
मुक्तेश्वर जाने का सबसे अच्छा समय: जून-अक्टूबर
दिल्ली से हिल स्टेशन की दूरी: 333 किमी
बिनसर में घूमने के लिए लोकप्रिय स्थान: बिनसर वन्यजीव अभयारण्य, खली एस्टेट, गणनाथ मंदिर
बिनसर में करने के लिए चीजें: लंबी पैदल यात्रा, प्रकृति की सैर, पक्षी देखना, वन्यजीव पर्यटन, फोटोग्राफी
दिल्ली से बिनसर कैसे पहुंचे: आप बिनसर के लिए बदलने से पहले पहले काठगोदाम और फिर अल्मोड़ा तक एक बस या टैक्सी ले सकते हैं।
बेस्ट टाइम टू विजिट बिनसर: अप्रैल-जून और अक्टूबर-नवंबर
दिल्ली से हिल स्टेशन की दूरी: 355 किमी
कौसानी में घूमने लायक लोकप्रिय स्थान: बैजनाथ झील, अनाशक्ति आश्रम, पंत संग्रहालय, शॉल एम्पोरियम, लखुदियार
कौसानी में करने के लिए चीजें: फोटोग्राफी, प्रकृति देखने, आराम करने, हल्की ट्रेकिंग
दिल्ली से कौसानी कैसे पहुँचे: कौसानी से काठगोदाम तक टैक्सी और बसों से पहुँचा जा सकता है, जो खुद दिल्ली से रेल के माध्यम से जुड़ा हुआ है।
कौसानी जाने का सबसे अच्छा समय: जून-अक्टूबर
दिल्ली से हिल स्टेशन की दूरी: 394 किमी
मुनस्यारी में घूमने के लोकप्रिय स्थान: बिर्थी जलप्रपात, मदकोट गाँव, आलू के खेत, दरकोट गाँव, बेतुलिधर
मुनस्यारी में करने के लिए चीजें: प्रकृति को देखना, बढ़ोतरी, फोटोग्राफी
दिल्ली से मुनस्यारी कैसे पहुँचें: दिल्ली से मुनस्यारी तक एक ही दिन में पहुँचना लगभग असंभव है। तो, आप पहले ट्रेन से काठगोदाम पहुंच सकते हैं और फिर रात भर के लिए पिथौरागढ़ के लिए बस या टैक्सी ले सकते हैं। आप अगली सुबह शेष दूरी को बस या टैक्सी से कवर कर सकते हैं
मुंसियारी जाने का सबसे अच्छा समय: अप्रैल-जून और अक्टूबर-नवंबर
दिल्ली से हिल स्टेशन की दूरी: 541 किमी
गंगा नदी तंत्र
भारत में बहने वाली गंगा नदी यहाँ की जीवनदायनी मानी जाती है जो गंगोत्री ग्लेशियर से निकल कर २५१० किलोमीटर लम्बा सफर तय करके इसकी एक शाखा बंगाल की खाड़ी और दूसरी शाखा बांग्लादेश चली जाती है।
गंगा एक प्राकतिक सम्पदा है जिसे भारत में देवी के रूप में पूजते है यह हिमालय पर्वत के गंगोत्री ग्लेसियर से निकलकर यहां इसका नाम भागीरथी रहता है और देव प्रयाग में अलकनंदा नदी के मिल जाने पर नदी का नाम आगे गंगा हो जाता है और हरिद्वार में यह नदी मैदान में प्रवेश करती है जहां इसमें उत्तर दिशा से बहुत सारी नदियां आकर मिलती है
गंगा नदी का रूप दो नदियों को मिलकर बनता है जो उत्तराखंड में भागीरथी नदी के गंगोत्री ग्लेशियर से और अलकनंदा के सतोपंथ ग्लेशियर से निकलकर बनती है ये जलधाराएं मिलाकर गंगा नदी का निर्माण करती है।
इन जलधाराओं में अलकनंदा नदी शांत स्वाभाव में बहती है जबकि भागीरथी नदी आवाज करती हुई बहती है।
गंगा नदी भारत के ५ राज्यों से होकर बहती है जैसे उत्तराखंड,उत्तर प्रदेश,बिहार,झारखण्ड और पश्चिम बंगाल। गंगा नदी की जलधारा सबसे ज्यादा दुरी उत्तर प्रदेश में और सबसे कम दूरी झारखण्ड में तय करती है।
पश्चिम बंगाल पहुंचकर यह नदिया दो जलधाराओं में बंट जाती है और भागीरथी और हुगली। भागीरथी नदी पश्छिम बंगाल में चली जाती है और हुगली नदी पश्चिम बंगाल में दक्षिण ओर हुए बंगाल की खाड़ी में अपना जल गिराती है।
JEEBHI-HIMACHAL KA EK KHUBSURAT VILLAGE
जीभी विलेज हिमाचल प्रदेश का एक बहुत ही खूबसूरत विलेज है जहां की खूबसूरती एक अलग ही अहसास दिलाती है। जो प्रकृति की मनोरम छटा और शांत वातावरण बेहद ही सुहाना लगता है।इसीलिए अगर अपने जीभी विलेज नहीं देखा तो कुक नहीं देखा। इस कारण से मै आज आपको जीभी विलेज की सैर कराता हूँ और साथ ही आपको ये भी बताऊंगा कि यहाँ कैसे पहुंचा जायेगा और यहां क्या प्लेस है जो आप घूम सकते है।
१- जीभी वाटर फॉल्स :- यह वाटर फॉल्स जंगल के अंदर छुपा हुआ है इसे आप जब तक नहीं देख सकते जब तक आप जंगल के अंदर नहीं जाते यह बहुत ही खूबसूरत प्लेस है। यहां पहुंचकर पानी के वहती आवाज एक अलग ही धुन सुनाती है जो यहां बैठकर घंटो बिता सकते है। यहां झरने के पास ही लकड़ी के पुल और छोटे -छोटे मचान बने हुए है जो यहां की सुंदरता में चार चाँद लगा देते है।
२-जालोरी पास :- जालोरी पास जीभी विलेज से मात्र १२ किमी दुरी पर स्थित है। यह समुद्र तल से ३००० मीटर की उचाई पर स्थित है यह एक बहुत सूंदर जगह है। जिससे आप प्रकृति की शरण में जा सकते है और प्रकृति की शांत हवा और वहा बैठकर शांति का मनोरम अहसास होता है। यहाँ देवदार के वृक्षों की बहुतायत है और पहाड़ियों का मनोरम दृश्य बहुत ही खूबसूरत लगता है।
३-सेरोलसर झील :- जीभी में एक और खूबसूरत जगह है सेरोलसर झील जो जीभी में घूमने के लिए सबसे खूबसूरत जगहों में से एक है। यह चीड़ के पेड़ों के बीच घने जंगलों के बीच में है यह एक बहुत ही खूबसूरत झील है। यह जालोरी पास से पूर्व में स्थित है यह झील ३०४० मीटर की ऊंचाई पर स्थित है यह जालोरी पास से ५ किमी की दुरी पर बहुत ही सरल मार्ग पर स्थित है। ट्रैकिंग करने के शौक़ीन इस दुरी पर ट्रैकिंग भी कर सकते है।
४- तीर्थनं वैली :- तीर्थन और बंजार की घाटियां हिमाचल प्रदेश में जुड़वाँ घाटीया है जोकि हर यात्री को कुछ ना कुछ देखने के लिए अपनी ओर खींचती है। यहां की खूबसूरती देखने काबिल है जो जीभी विलेज से कुछ ही दुरी पर है।
५-ग्रेट हिमालयन नेशनल पार्क :- इस पार्क की यात्रा राष्ट्रीय उद्यान की खोज के बिना अधूरी है क्योंकि यह जीभी में सबसे उच्च शिखर में से एक है। यह प्राकृतिक वनस्पतियों और जीवों को देखने के लिए बहुत ही खूबसूरत जगह है। यहाँ जाने के लिए स्पेशल परमिशन लेनी पड़ेगी हिमाचल प्रदेश में ग्रेट हिमालयन नेशनल पार्क की यात्रा के लिए सबसे अच्छी जलवायु और सूंदर वनस्पतिया,मार्च,अप्रैल,मई,जून,और मध्य सितम्बर,अक्टूबर और नवेम्बर है।
जीभी विलेज दिल्ली और मनाली के बीच में पड़ता है यहाँ जाने के लिए आपको दिल्ली या चंडीगढ़ से सड़क मार्ग के द्वारा पंहुचा जा सकता है। यहाँ जाने के लिए सबसे निकमतम एयरपोर्ट ५१ किलोमीटर कुल्लू का भुंतर है और निकटतम रेलवे मार्ग वैजनाथ रेलवे स्टेशन है। यह स्टेशन छोटी लाइन का रेलवे ट्रेक है जिसके लिए पठानकोट से ट्रैन मिलती है यहां जाने के लिए कुल्लू बस स्टेशन से हर समय बस सुविधा उपलब्ध है।
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